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राजस्थान में बिजली संकट पर गहलोत सरकार के मंत्री की सफाई, कहा- केंद्र की मोदी सरकार जिम्मेदार

झालावाड़। राजस्थान प्रदेश में इन दिनों पावर प्लांटों को जरूरत के मुताबिक कोयला नहीं मिलने से बिजली संकट गहराया हुआ है। इस मामले को लेकर वि...

झालावाड़। राजस्थान प्रदेश में इन दिनों पावर प्लांटों को जरूरत के मुताबिक कोयला नहीं मिलने से बिजली संकट गहराया हुआ है। इस मामले को लेकर विपक्ष की ओर से लगातार धरना प्रदर्शन हो रहे हैं। इधर, गहलोत सरकार के मंत्री और झालावाड़ जिला प्रभारी मंत्री ने मामले में सफाई देते हुए बिजली संकट के पीछे सीधे तौर पर केंद्र सरकार को जिम्मेदार ठहराया है। उन्होंने मंगलवार को झालावाड़ प्रवास के दौरान मीडिया से बातचीत की। मंत्री जूली ने कहा कि राजस्थान के पावर प्लांटों को पूरी क्षमता पर चलाने पूरी क्षमता से बिजली उत्पादन करने के लिए रोजाना साढ़े ग्यारह रैक कोयले की जरूरत होती है। लेकिन राजस्थान के पावर प्लांटों के लिए इन दिनों सिर्फ डेढ़ से ढाई रैक कोयला ही मिल पा रहा है। राज्य सरकार कोयले की कमी की स्थितियों को समाप्त करने का लगातार प्रयास कर रही है। विद्युत उत्पादन निगम के सीएमडी और ऊर्जा मंत्री दिल्ली जाकर केंद्र सरकार के अधिकारियों के संपर्क में है। केंद्र से डिमांड की जा रही है कि राजस्थान को उसकी डिमांड का कोयला उपलब्ध करवाया जाए। ताकि पर्याप्त बिजली का उत्पादन हो सके। मंत्री ने कहा कि कोयले की कमी की वजह से पावर प्लांटों की इकाइयां चालू नहीं हो पा रही है दूसरी और प्रदेश के कई इलाकों में पर्याप्त बारिश नहीं होने की वजह से बिजली की खपत डेढ़ गुना बढ़ गई है। जहां 21 हजार मेगावाट बिजली की खपत होती थी वह 31 हजार मेगावाट पहुंच गई है। प्रदेश की जनता को किसी तरह की परेशानी न हो ऐसे में बिजली उत्पादन की दिक्कत को सरकार ठीक करने का प्रयास कर रही है। बिजली संकट को लेकर झालावाड़ सहित प्रदेशभर में बीजेपी की ओर से किए जा रहे धरना प्रदर्शन को लेकर मंत्री टीकाराम जूली ने कहा कि भाजपा के नेता मोदी तक यह बात समाचार पहुंचाएं की राजस्थान को निरंतर कोयले की आपूर्ति की जाए। भेदभाव नहीं करने की सलाहप्रदेश के पावर प्लांटों में कोयले की कमी को लेकर मंत्री टीकाराम जूली ने केंद्र पर निशाना साधा। कहा कि केंद्र सरकार ऐसा न करें जैसे कि कोविड-19 काल में राजस्थान को ऑक्सीजन की जरूरत थी। और प्रदेश के हिस्से की ऑक्सीजन गुजरात को पहुंचाई। राजस्थान को रेमडिसिवर इंजेक्शन की जरूरत थी। और वह इंजेक्शन मध्यप्रदेश को दिए गए। बीजेपी ऐसा न करें। जिन प्रदेशों में उनकी सरकार नहीं है उन प्रदेशों के साथ भेदभाव न करें। मंत्री जूली ने केंद्रीय की ओर इशारा किया और कहा कि राजस्थान ने सभी एमपी बीजेपी को जीता कर दिए हैं। राजस्थान प्रदेश से ऐसी क्या नाराजगी है कि राजस्थान का नंबर आता है तो केंद्र सरकार जरूरत में कटौती करती है। उन्होंने कहा कि बीजेपी के शासन काल में भी राजस्थान कि बिजली कंपनियां घाटे में थी और आज भी घाटे में है। सरकार बकाया राशि का भुगतान करती है। बकाया पैसा दिया जाता है। ऐसे में कोयले की सप्लाई नहीं रोकी जानी चाहिए।


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