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कोरोना काल में टूटी 'कमर'... कमाई नहीं होने से टीन शेड में रहने को मजबूर बिहार की ये महिला, अब सीएम नीतीश से लगाई गुहार

पटना कोरोना महामारी ने शहर में कई लोगों, खासकरर गरीबों के जीवन पर काफी बुरा असर डाला है। ऐसे लोगों के लिए सरकार भले की कल्याण के काम कर र...

पटना कोरोना महामारी ने शहर में कई लोगों, खासकरर गरीबों के जीवन पर काफी बुरा असर डाला है। ऐसे लोगों के लिए सरकार भले की कल्याण के काम कर रही हो लेकिन इन लोगों दुख खत्म होने का नाम नहीं ले रहे हैं। ऐसे ही लोगों में से एक हैं 40 साल की संजू देवी। संजू देवी इस वक्त राजीव नगर में सीववर लाइन के पास आश्रम गली में एक टीन शेड में रह रही है क्योंकि उनके पास घर नहीं है और मकान का किराया देने लायक कमाई नहीं हो पा रही है। दूसरी शादी के एक साल बाद पति की हो गई मौत संजू के पति कोकल चौधरी ने उन्हें 1994 में छोड़ दिया था। आंशिक रूप से अंधी महिला ने अपनी बेटी को अपने दम पर पाला और किसी तरह 2016 में लगभग 40,000 रुपये खर्च करके उसकी शादी कर दी। संजू देवी ने कहा कि उसके पहले पति ने उसे छोड़ दिया तब उसने 1996 में आरा के एक करीमन चौधरी से शादी कर ली। हालांकि, चौधरी की शादी के एक साल बाद बिजली का करंट लगने से मौत हो गई। पटना में जन्मी संजू का पालन-पोषण उसकी मां सुगिया देवी ने दीघा रोड के किनारे एक झोपड़ी में किया। संजू के मुताबिक, वह मुश्किल से छह साल की थी, तब उसके भाई रमेश कुमार (उम्र 20 साल) की अचानक पेट दर्द और सिरदर्द के कारण मौत हो गई। संजू ने कहा- "मेरे पिता लक्ष्मी चौधरी भी भाई रमेश की मृत्यु के तीन महीने बाद हमें छोड़कर चले गए। और 2000 में मां की मृत्यु हो गई।" से मदद की उम्मीद संकट से जूझ रही संजू अब सीएम नीतीश कुमार से मिलना चाहती है क्योंकि उनका मानना है कि केवल वही उनके दुखों को खत्म कर सकते हैं और किसी भी सरकारी योजना के तहत उन्हें घर दिलाने में मदद कर सकते हैं। कोरोना शुरू होने से पहले संजू चार घरों में नौकरानी का काम करती थी और प्रति माह लगभग 5,000 रुपये कमाती थी। लेकिन कोरोना शुरू होने के बाद से वह अब केवल एक घर में काम करती है और प्रति माह केवल 1,200 रुपये कमाती है। कमाई घटने पर इस साल खाली कर दिया मकान: संजू संजू 15 साल से एजी कॉलोनी में किराए के मकान में रह रही था। पिछले साल मार्च में कोरोना की वजह से लगे लॉकडाउन के बाद से उसकी कमाई कम हो गई। जिसके चलते उसने इस साल फरवरी में घर खाली कर दिया। महिला ने कहा कि "मेरे लिए राहत की बात रही कि मेरे मकान मालिक ने मेरा पूरे एक साल का किराया माफ कर दिया। उन्होंने किराया नहीं लिया।" राशन कार्ड के लिए नंबर-5 की पार्षद को संजू ने किया धन्यवाद उन्होंने वार्ड नंबर-5 की पार्षद दीपा रानी खान को भी धन्यवाद दिया, जिन्होंने पिछले साल राशन कार्ड हालिस करने में उनकी मदद की थी। संजू ने कहा- “मैं केवल तीन बार राशन ले पाई हूं। अगर मैं समय पर उनकी दुकान पर नहीं पहुंच पाती तो पीडीएस डीलर राशन देने से मना कर देता है।"


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