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Court on Coronavirus : पटना हाईकोर्ट ने बिहार सरकार से पूछा- कोरोना की तीसरी लहर से निपटने के लिए क्या है तैयारी

पटना: पटना हाईकोर्ट ने मंगलवार को राज्य सरकार से कोरोना की तीसरी संभावित लहर से बचाव से लिए योजना के बारे में सवाल पूछे हैं। इस दौरान अदा...

पटना: पटना हाईकोर्ट ने मंगलवार को राज्य सरकार से कोरोना की तीसरी संभावित लहर से बचाव से लिए योजना के बारे में सवाल पूछे हैं। इस दौरान अदालत ने राज्य सरकार को लिक्विड ऑक्सिजन के लिए भंडारण सुविधाएं बनाने और ऑक्सिजन परिवहन के लिए पर्याप्त क्रायोजेनिक टैंकर खरीदने में विफल रहने के लिए भी फटकार लगाई। तीसरी लहर की तैयारी पर पटना हाईकोर्ट ने पूछे सवालमुख्य न्यायाधीश संजय करोल और न्यायमूर्ति एस कुमार की खंडपीठ ने जनहित याचिकाओं के एक बैच की सुनवाई करते हुए मुख्य सचिव को इन मुद्दों के समाधान के लिए राज्य सरकार की तरफ से उठाए गए कदमों का विवरण देते हुए एक जवाबी हलफनामा दायर करने को कहा। कोर्ट ने टीकाकरण की भी जानकारी मांगीग्रामीण क्षेत्रों में 18 से 45 वर्ष के लोगों के टीकाकरण के बारे में पूरी जानकारी देने का आदेश पटना हाईकोर्ट ने राज्य सरकार को दिया है। कोर्ट ने राज्य के विभिन्न क्षेत्रों के टीकाकरण का विस्तृत ब्यौरा पेश करने को कहा है। साथ ही राज्य सरकार को यह भी बताने को कहा कि अब तक कितने टीके लगाए जा चुके हैं और आगे क्या व्यवस्था की जा रही है। साथ ही ऑक्सिजन की जरूरत और स्टोरेज करने के बारे में भी ब्यौरा देने का आदेश दिया है। मंगलवार को मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति संजय करोल तथा न्यायमूर्ति एस कुमार की खंडपीठ ने कोरोना महामारी के मामले पर सुनवाई की। मामले पर सुनवाई के दौरान कोर्ट ने राज्य सरकार से जानना चाहा कि राज्य स्वयं कितना ऑक्सिजन का उत्पादन करता है और उसके रखने की क्या व्यवस्था है। साथ ही यह भी बताने को कहा कि राज्य में कहां से और कितने ऑक्सिजन की आपूर्ति की जा रही है। बिहार में लिक्विड ऑक्सिजन रखने की व्यवस्था नहींइस संबंध में राज्य सरकार की ओर से कोर्ट को बताया गया कि राज्य में लिक्विड ऑक्सिजन को रखने के लिए कोई व्यवस्था नहीं है। उनका कहना था कि केंद्र सरकार से मिल रही ऑक्सिजन को स्टोरेज करने के लिए टैंक नहीं है। राज्य अपने स्तर से ऑक्सिजन का उत्पादन कर रहा है। कोर्ट को यह भी बताया गया कि पीएमसीएच में लगने वाला ऑक्सिजन प्लांट फिलहाल एनएमसीएच में लगाया जायेगा और फिर पीएमसीएच में स्थापित किया जायेगा। बक्सर में मौत पर भी रिपोर्टबिहार सरकार की ओर से बक्सर जिले के ग्यारह प्रखंडों में पहली जनवरी से 17 मई के बीच हुई मौत का पूरा ब्यौरा पेश किया। कोर्ट को बताया गया कि पहली जनवरी से 17 मई के बीच 3952 हिंदू समुदाय के लोगों की मौत हुई है जबकि अल्पसंख्यक समुदाय के 323 की मौत हुई है। बक्सर जिले के मुक्तिधाम श्मशान घाट पर गत जनवरी माह में 1747, फरवरी माह में 1182, मार्च माह में 1053, अप्रैल माह में 1802 तथा 16 मई तक 1382 लोगों का अंतिम संस्कार किया गया है। वहीं, कोरोना से हुई मौत के बारे में पूरी जानकारी देने के लिए एक समय देने की मांग कोर्ट से की। कोर्ट को बताया गया कि 30 जिलों से अंतरिम रिपोर्ट आ गई है। अगली तारीख पर पूरा ब्यौरा पेश किया जायेगा। बक्सर जिले में अब तक 1,77,780 लोगों का वैक्सीनेशन किया जा चुका है।


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